यह 26 November 2022 का करेंट अफेयर्स है, जो आपके कांपटीटिव एग्जाम्स में मदद करेगा।
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1. इंटरनेशनल ब्यूरो ऑफ वेट्स एंड मेजर्स स्टैंडर्ड किस वर्ष से लीप सेकेंड के आगे बढ़ाने की व्यवस्था को खत्म कर देगा?
a. 2030
b. 2035
c. 2040
d. 2045
Answer: b. 2035
– लीप सेकेंड के समय को एक सेकेंड आगे बढ़ाने के सिस्टम को वर्ष 2035 में खत्म किया जाएगा।
– यह फैसला फ्रांस में साइंस और मेजरमेंट स्टैंडर्ड की इंटरनेशनल ट्रिटी के सदस्य ने किया।
– रूस ने इस प्रस्ताव के खिलाफ वोट किया था।
– रूस इसे वर्ष 2040 तक बढ़ाने की बात कर रहा था।
– रूस अपने विशाल भौगोलिक स्थिति और क्षेत्र के कारण कई टाइम जोन रखता है, इसिलिए वह इसे वर्ष 2040 तक बढ़ाने की बात कह रहा था।
– कुछ देश वर्ष 2025 और कुछ 2030 तक ही इस व्यवस्था को रखना चाहते थे।
– इसलिए अमेरिका और फ्रांस के नेतृत्व में वर्ष 2035 को चुना गया।
लीप सेकेंड क्या है
– लीप सेकेंड को समझने के लिए पहले लीप ईयर समझना पड़ेगा।
– जैसे हर वर्ष 365 दिन होते है।
– लेकिन लगभग हर चार वर्षों में एक वर्ष ऐसा आता है जिसमें 366 दिन का होता है, उसे लीप ईयर कहते है।
– यह पृथ्वी की घूर्णन गति और हमारे समय मापन विधि में अंतर की वजह से होती है।
– इसी प्रकार हम जानते है कि एक मिनट में 60 सेकेंड होते है।
– यदि किसी एक मिनट में 61 हो जाए, तो यहाँ एक सेकेंड ज्यादा हो जाता है।
– इस ज्यादा समय को की हम लीप सेकेंड कहते है।
ऐसा क्यों होता है?
– इसके होने का कारण भी पृथ्वी की गति और हमारे द्वारा मापा जाने वाले समय में अंतर के कारण होता है।
– पृथ्वी की गति कई चीजों पर निर्भर करती है। जैसे – चंद्रमा का गुरुत्वाकर्षण, सूर्य का गुरुत्वापर्षण और अन्य कारणों पर
– इन कारणों के कारण पृथ्वी की गति धीमी हो जाती है।
– पृथ्वी की गति और घड़ी के समय में प्रभाव न आए इसिलिए घड़ी का समय बड़ा दिया जाता है।
– लीप सेकेंड की शुरूआत वर्ष 1972 से हुई थी।
– यह अभी तक कुल 27 बार आ चुका है।
– यह 30 जून और 31 दिसम्बर के अंतिम समय में जोड़ा जाता है।
लीप सेकेंड से होने वाली परेशानियां
– वर्ष 1972 के बाद से लीप सेकेंड की परेशानी हो रही है।
– लेकिन अब टेक्निकल प्रोबलम्स हो रही है।
– यह सही तरीकें से बताना कठिन है कि किस वर्ष लीप सेकेंड की जरूरत पड़ेगी, ताकि कंप्यूटर नेटवर्क को उसके हिसाब से तैयार किया जा सकें।
– अलग-अलग नेटवर्क ने एक्सट्रा सेकेंड जोड़ने के लिए अपने तरीके अपनाए है।
– इससे सैटेलाइट संचालन, सॉफ्टवेयर, दूरसंचार, व्यापार, अंतरिक्ष यात्रा जैसे कई कार्यों में सेंकेड के कुछ हिस्सों तक की सटीकता की जरूरत होती है।
– इसमें घड़ियों का सटीक तालमेल होना जरूरी होता है।
– इस लीप सेकंड का बदलाव समूचे तंत्र समूहों में करना होता है जो परेशान का सबक बनता है।
कैसे परिवर्तित किया जाएगा
– वर्ष 2035 के बाद समय के अंतर को ज्यादा मान तक बढ़ने दिया जाएगा।
– कितना बढ़ने दिया जाएगा यह अभी तय नहीं है।
– इसका फैसला बाद में लिया जाएगा।
– और तय किए गए समय तक बढ़ने के बाद उस समय एक साथ तालमेल बिठाया जाएगा।
इंटरनेशनल ब्यूरो ऑफ वेट्स एंड मेजर्स स्टैंडर्ड
– स्थापना – 1875
– ऑफिस – फ्रांस
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2. तेनजिंग नोर्गे नेशनल एडवेंचर अवॉर्ड 2021 के लैंड एडवेंचर कैटेगरी अवॉर्ड के लिए किसे चुना गया?
a. शुभम धनंजय वनमाली
b. नैना धाकड़
c. कुंवर भवानी सिंह सम्याल
d. आपा शेरपा
Answer: b. नैना धाकड़
– युवा कार्यक्रम और खेल मंत्रालय ने 23 नवंबर 2022 को इन पुरस्कारों की घोषणा की।
– नैना धाकड़ को ‘लैंड एडवेंचर अवॉर्ड’ के लिए चुना गया है।
नैना धाकड़
– वह छत्तीसगढ़ के जिले बस्तर की रहने वाली हैं।
– वह एक पर्वतारोही है।
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3. तेनजिंग नोर्गे नेशनल एडवेंचर अवॉर्ड 2021 के वाटर एडवेंचर कैटेगरी अवॉर्ड के लिए किसे चुना गया?
a. कामी रीता शेरपा
b. अंग रीता शेरपा
c. लखपा शेरपा
d. शुभम धनंजय वनमाली
Answer: d. शुभम धनंजय वनमाली
– शुभम धनंजय वनमाली को ‘वाटर एडवेंचर अवॉर्ड’ के लिए चुना गया है।
शुभम धनंजय वनमाली
– वह नवी मुंबई, महाराष्ट्र के रहने वाले है।
– शुभम धनंजय वनमाली एक ओपन वाटर स्विमर हैं।
– उन्होंने तीन महासागर सात चैनल पूरे किए हैं और ओपन वॉटर स्विमिंग का ट्रिपल क्राउन हासिल किया है।
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4. तेनजिंग नोर्गे नेशनल एडवेंचर अवॉर्ड 2021 के लाइफ टाइम अचीवमेंट कैटेगरी अवॉर्ड के लिए किसे चुना गया?
a. विजय अनंत
b. देवगौड़ा श्री
c. कुंवर भवानी सिंह सम्याल
d. समन चौधरी
Answer: c. कुंवर भवानी सिंह सम्याल
– ग्रुप कैप्टन कुंवर भवानी सिंह सम्याल ‘लाइफ टाइम अवॉर्ड’ के लिए चुना गया है।
– इस वर्ष के पुरस्कार 30 नवंबर, 2022 को राष्ट्रपति भवन में भारत की राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मु द्वारा दिए जाएंगे।
तेनजिंग नोर्गे नेशनल एडवेंचर अवॉर्ड 2021
– पुरस्कार विजेताओं में से प्रत्येक को लघु प्रतिमा, प्रमाण पत्र और 15 लाख रुपये की पुरस्कार राशि मिलती है।
– यह पुरस्कार लैंड एडवेंचर, वाटर एडवेंचर, एयर एडवेंचर और लाइफ टाइम अचीवमेंट नामक चार श्रेणियों में दिया जाता है।
– यह पुरस्कार युवा लोगों को साहसिक गतिविधियों या कार्यों में शामिल होने के लिए प्रोत्साहन प्रदान करने के लिए दिए जाते हैं।
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5. भारत ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस से जुड़ी किस पहल की अध्यक्षता ग्रहण की?
a. APAI
b. BPAI
c. GPAI
d. RPAI
Answer: c. GPAI (ग्लोबल पार्टनरशिप ऑन आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस)
– भारत ने 21 नवंबर 2022 को ग्लोबल पार्टनरशिप ऑन आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (GPAI) की अध्यक्षता ग्रहण की।
– यह अध्यक्षता भारत को टोक्यो में आयोजित GPAI की बैठक में मिली।
– इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री, राजीव चंद्रशेखर ने इस बैठक में भारत का प्रतिनिधित्व किया
– पहले यह फ्रांस के पास थी, जोकि अब भारत को दे दी गई है।
GPAI (ग्लोबल पार्टनरशिप ऑन आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस)
– GPAI जिम्मेदार और मानव-केंद्रित विकास और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के उपयोग का समर्थन करने के लिए एक अंतरराष्ट्रीय पहल है।
– GPAI अमेरिका, ब्रिटेन, यूरोपीय संघ, ऑस्ट्रेलिया, कनाडा, फ्रांस, जर्मनी, इटली, जापान, मैक्सिको, न्यूजीलैंड, कोरिया गणराज्य और सिंगापुर सहित 25 सदस्य देशों का एक समूह है।
– भारत वर्ष 2020 में एक संस्थापक सदस्य के रूप में इस समूह में शामिल हुआ था।
– GPAI का लक्ष्य आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के विकास को बढ़ावा देना है।
भारत में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) के विकास के लिए क्या?
– भारत आधुनिक साइबर कानूनों और इंफ्रास्ट्रक्चर का एक इकोसिस्टम बना रहा है।
– भारत ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर नेशनल प्रोग्राम और एक नेशनल डाटा गवर्नेंस फ्रेमवर्क पॉलिसी (NDGFP) तैयार की है।
– NDGFP का उद्देश्य गैर-व्यक्तिगत डाटा को समान एक्सेस पहुंचाना है।
– इसके अलावा सरकारी डाटा साझा करने के लिए फ्रेमवर्क में सुधार करना है।
– AI से 2035 तक भारतीय अर्थव्यवस्था में 967 बिलियन डॉलर और 2025 तक भारत की जीडीपी में 450-500 बिलियन डॉलर के योगदान की उम्मीद है।
– जोकि देश के 5 ट्रिलियन डॉलर जीडीपी लक्ष्य का 10 प्रतिशत है।
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6. केंद्र सरकार ने सुसाइड को रोकने के लिए नवंबर 2022 में किस पॉलिसी का अनावरण किया?
a. नो सुसाइड इन इंडिया
b. मेंटल हेल्थ ऑफ इंडिया
c. प्रिवेंट सुसाइड इन कंट्री
d. नेशनल सुसाइड प्रिवेंशन स्ट्रेटजी
Answer: d. नेशनल सुसाइड प्रिवेंशन स्ट्रेटजी
– स्वास्थ्य मंत्रालय ने 21 नवंबर 2022 को नेशनल सुसाइड प्रिवेंशन स्ट्रेटजी का अनावरण किया।
– पब्लिक हेल्थ प्राथमिकता के रूप में सुसाइड को रोकने के लिए सरकार द्वारा बनाई गई अपनी तरह की यह पहली नीति है।
नेशनल सुसाइड प्रिवेंशन स्ट्रेटजी
– यह नीति आने वाले दशक में मेंटल हेल्थ को बढ़ावा देने और सुसाइड की रोकथाम के लिए प्लेटफॉर्म तैयार करेगी।
– इस पॉलिसी का लक्ष्य 2023 तक देश में आत्महत्या मृत्यु दर को 10 प्रतिशत तक कम करना है।
– यह पॉलिसी देश में सुसाइड की रोकथाम के लिए एक फ्रेमवर्क तैयार करती है।
नेशनल सुसाइड प्रिवेंशन स्ट्रेटजी का उद्देश्य
– इस स्ट्रेटजी के चार मुख्य उद्देश्य है:
1. पहला उद्देश्य: यह अगले तीन वर्षों के भीतर सुसाइड के लिए प्रभावी निगरानी तंत्र (सर्विलांस मैकेनिज्म) स्थापित करेगा।
2. दूसरा उद्देश्य: यह मनोरोग बाह्य रोगी विभाग (सायकेट्रिक आउटपेशेंट) स्थापित करना चाहता है।
– जोकि अगले पांच वर्षों के भीतर सभी जिलों में जिला मेंटल हेल्थ प्रोग्राम के माध्यम से सुसाइड रोकथाम सेवाएं प्रदान करेगा।
3. तीसरा उद्देश्य: इसका उद्देश्य अगले आठ वर्षों के भीतर सभी शैक्षणिक संस्थानों में एक मेंटल वेलफेयर पाठ्यक्रम को शुरू करना है।
4. चौथा उद्देश्य: नेशनल सुसाइड रोकथाम रणनीति का चौथा उद्देश्य आत्महत्या की निगरानी को मजबूत करना है।
– इसके अलावा मूल्यांकन के माध्यम से सुसाइड के मामलों पर ध्यान देना है।
नेशनल सुसाइड प्रिवेंशन स्ट्रेटजी के मुख्य स्टेकहोल्डर
– इस पॉलिसी के इम्प्लीमेंटेशन के लिए पांच मुख्य स्टेकहोल्डर:
1. राष्ट्रीय स्तर के मंत्रिस्तरीय स्टेकहोल्डर
2. राज्य स्तर सरकारी स्टेकहोल्डर
3. जिला स्तरीय सरकारी स्टेकहोल्डर
4. NIMHANS बैंगलोर
5. अन्य शीर्ष मानसिक स्वास्थ्य संस्थान, और रणनीतिक सहयोगी
पॉलिसी का इम्प्लीमेंटेशन स्ट्रक्चर
– देश में लीडरशिप, पार्टनरशिप और इंस्टीट्यूशनल कैपेसिटी को मजबूत करना
– सुसाइड रोकथाम सेवाएं प्रदान करने के लिए हेल्थ सर्विसेज की कैपेसिटी में वृद्धि करना
– सुसाइड की रोकथाम और सुसाइड के व्यवहार
को कम करने के लिए सामाजिक समर्थन विकसित करना
NCRB के अनुसार बीते वर्षों में भारत में सुसाइड
– वर्ष 2021: 1,64,033
– वर्ष 2019: 1,39,123
– वर्ष 2020: 1,53,052
– वर्ष 2021: 1,64,033
भारत में चल रही सुसाइड रोकथाम के लिए इनीशिएटिव
– नेशनल मेंटल हेल्थ पॉलिसी,2014
– द मेंटल हेल्थकेयर एक्ट, 2017
– नेशनल मेंटल हेल्थ प्रोग्राम
– नेशनल पैलिएटिव केयर प्रोग्राम
– आयुष्मान भारत
– नशा मुक्ति अभियान
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7. हाथियों की मौत की रिकॉर्डिंग और निगरानी के लिए किस राज्य के वन विभाग ने हाथी मृत्यु ऑडिट फ्रेमवर्क पेश किया?
a. कर्नाटक
b. केरल
c. तमिलनाडु
d. आंध्रा प्रदेश
Answer: c. तमिलनाडु
– भारत की पहली पहल जिसमें तमिनाडु के वन विभाग ने हाथियों की मृत्यु के लिए ऑडिट फ्रेमवर्क पेश किया।
– राज्य वन्यजीव बोर्ड की बैठक में मुख्यमंत्री M K स्टालिन ने इस ऑडिट फ्रेमवर्क का उद्घाटन किया।
– इससे हाथियों की मौत की रिकॉर्डिंग और निगरानी के लिए एक पारदर्शी प्रक्रिया बनाने की कोशिश की जाएगी।
ऑडिट फ्रेमवर्क का क्या काम होगा
– हाथियों के मृत्यु के कारणों का पता लगाया जाएगा।
– कारणों का पता लगने के बाद क्या कदम उठाए जा सकते है उन पर विचार किया जाएगा।
– यह फ्रेमवर्क हाथी की मौत के कारणों का पता लगाने के लिए पोस्ट-मॉर्टम करने की सुविधा तैयार करेगी।
– हाथियों की अप्राकृतिक मौतों का अध्ययन किया जाएगा।
– और अप्राकृतिक मौतों को कैसे रोका जाए, उस पर विचार करने का काम इसी विभाग का होगा।
जनवरी 2021 और 15 मार्च 2022 हाथियों की मौत
– मीडिया रिपोर्टों के अनुसार 01 जनवरी 2021 और 15 मार्च 2022 के बीच तमिलनाडु के वन में 131 हाथियों की मौतें हुई थी।
– इन 131 मौतों में 118 प्राकृतिक और 13 मानव प्रेरित कारणों से हुई थी।
– बिजली के झटके के कारण छह ट्रेन की चपेट में आ गए, चार सड़क दुर्घटना के कारण और दो जवाबी हमले के कारण।
– इन सभी मौतों को रोकने और ऑडिर करने का कार्य तमिलनाडु का वन विभाग करेगा।
भारत में एशियाई हाथियों की आबादी
– भारत विश्व में एशियाई हाथियों की आबादी का दो-तिहाई से अधिक का घर है।
– भारत में संरक्षित क्षेत्रों के अंदर रहने वाले हाथी की संख्या लगभग 20 प्रतिशत है।
– बाकी 80 प्रतिशत असंरक्षित क्षेत्र में रहते है।
– भारत में वर्तमान में 33 हाथी अभ्यारण्य है।
– केंद्र सरकार ने तराई हाथी अभ्यारण्य को उत्तर प्रदेश में अक्टूबर 2022 में मंजूरी दी है।
तमिलनाडु हाथी अभ्यारण्य
– नीलगिरि एलीफेंट रिजर्व
– नीलांबुर एलीफेंट रिजर्व
– श्रीविल्लिपुथुर एलीफेंट रिजर्व
– अन्नामलाई एलीफेंट रिजर्व
– अगस्त्यमलाई एलीफेंट रिजर्व
तमिलनाडु
– राजधानी – चेन्नई
– राज्यपाल – R N रवि
– मुख्यमंत्री – M K स्टालिन
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8. 11वां संगाई फेस्टिवल किस राज्य में मनाया जा रहा है?
a. मेघालय
b. मणिपुर
c. त्रिपुरा
d. सिक्किम
Answer: b. मणिपुर
– यह मणिपुर का सबसे बड़ा पर्यटन उत्सव है।
– केंद्रीय पर्यटन मंत्री G किशन रेड्डी ने 21 नवंबर 2022 को मणिपुर संगाई फेस्टिवल को मणिपुर में लॉन्च किया।
– इस फेस्टिवल को संगाई एथनिक पार्क, बिष्णुपुर जिले के मोइरंग खुनौ में 21 नवंबर से 30 नवंबर 2022 तक आयोजित किया जा रहा है।
– वर्ष 2022 में ही मणिपुर के मुख्यमंत्री ने संगाई एथनिक पार्क का उद्घाटन किया था।
– इस बार यह उत्सव मणिपुर में 13 अलग-अलग स्थानों पर आयोजित किया जा रहा है।
– त्योहार का विषय ‘एकता का त्योहार’ है।
संगाई फेस्टिवल
– इसका फेस्टिवल का नाम मणिपुर में पाए जाने वाले मृगसंगई हिरण के नाम पर रखा गया।
– यह हिरण मणिपुर का राज्य पशु है।
– इस फेस्टिवल को 2010 से शुरु किया गया था।
– इस फेस्टिवल से मणिपुर विश्व में मणिपुर की संस्कृति को प्रदर्शित करता है।
– इसका आयोजन राज्य पर्यटन विभाग करता है।
– इसमें लगभग 33 अलग-अलग समुदायों के समूहों ने भाग लिया।
– उद्घाटन समारोह में इन समुदायों ने अपनी संस्कृती को प्रदर्शित किया।
मणिपुर
– राजधानी – इम्फाल
– राज्यपाल – L A गणेशन
– मुख्य मंत्री – N बिरेन सिंह
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9. पुस्तक ‘इन सर्च ऑफ द डिवाइन: लिविंग हिस्ट्रीज ऑफ सूफिज्म इन इंडिया’ के लेखक कौन है?
a. राणा सफ्वी
b. गीतांजलि श्री
c. रस्किन बॉन्ड
d. रामचंद्र गुहा
Answer: a. राणा सफ्वी
– राणा सफ्वी ने इस पुस्तक को लिखा है।
– यह पुस्तक सूफीवाद, इसकी जड़ों और समुदायों के लोगों के विचारों के बारे में दर्शाती है।
– यह पुस्तक सूफियों के पवित्र वातावरण, कव्वाली की धुन के साथ सूफीवाद में महिलाओं के निर्विवाद, लेकिन अक्सर भुला दिए गए योगदान पर प्रकाश डालती है।
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10. अबसार बेउरिया का निधन 17 नवंबर 2022 को हो गया,वे इनमें से क्या थे?
a. अभिनेता
b. क्रिकेटर
c. भारतीय राजनयिक
d. निर्देशक
Answer: c. भारतीय राजनयिक
– वह 80 वर्ष के थे।
– प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अबसार बेउरिया के निधन पर गहरा दुःख व्यक्त किया।
– उन्होंने ट्वीट करके अबसार बेउरिया को श्रद्धांजलि दी।
अबसार बेउरिया
– वे प्रख्यात साहित्यकार, पूर्व भारतीय राजदूत और सेवानिवृत्त भारतीय विदेश सेवा (IFS) अधिकारी थे।
– उन्होंने जापान, रूस, अमेरिका, संयुक्त अरब अमीरात, म्यांमार, श्रीलंका और मेडागास्कर में भारतीय राजनयिक मिशनों में अपनी सेवा दी थी।
– राजनयिक को ओडिया संस्कृति और साहित्य के साथ घनिष्ठ संबंध के लिए जाना जाता था।
– उन्होंने इंस्टीट्यूट ऑफ ओडिया स्टडीज एंड रिसर्च (IOSR) के अध्यक्ष के रूप में कार्य किया।
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